केले के बारे में दुनिया जानती है। किसी शहर या कस्बे का कोई भी बाजार ऐसा नहीं जहां केला बिकते हुए ना मिलें। घर-घर में पसंद किया जाने वाला केला 10 हजार साल से हमारे जीवन का हिस्सा है और आने वाले सैकड़ों हजारों सालों तक इस फल को हम सराहते रहेंगे। महज एक फल के तौर पर जाने वाले केले के बारे में बहुत कम लोग ही जानते हैं कि इसके पौधे में औषधीय गुणों का खज़ाना है। चलिए आज जानते हैं आधुनिक औषधि विज्ञान जगत ने केले के किन-किन गुणों को क्लिनिकल तौर पर प्रमाणित किया है। क्या सिर्फ स्टार्च से भरपूर होने के अलावा केले में और भी कुछ है जो आम तौर पर ज्यादा लोगों को नहीं पता?
मुंह के छाले ठीक करता है
कई आर्टिफिसल और केमिकल्स वाली दवाएं जैसे एस्पिरिन, इण्डोमेथासिन, सिस्टियामाइन, हिस्टामाइन आदि के सेवन के बाद कई लोगों को मुंह में छाले आ जाते हैं। आधुनिक शोधों से जानकारी मिलती है कि कच्चे केले को सुखाकर चूर्ण बना लिया जाए और इस चूर्ण को चाटा जाए, तो मुंह के छालों को ठीक कर देता है।
पथरी बाहर निकालता है
केले के तने का रस पथरी में बेहद कारगर है। एक शोध के अनुसार केले के तने का रस किडनी में होने वाली पथरी, खास तौर से ओक्सालेट की बनी पथरी को तोड़कर पेशाब मार्ग से बाहर निकाल देता है।
एचआईवी कंट्रोल करता है
अनेक शोधों के परिणामों पर नजर डाली जाए, तो जानकारी मिलती है कि केले में वायरस नियंत्रण के जबरदस्त गुण होते हैं। कुछ शोध तो इसे MRSA और HIV के नियंत्रण तक के लिए उपयोगी मानते हैं।
नई कोशिकाओं के निर्माण में सहायक
शोधों से यह भी जानकारी मिलती है कि केले का चूर्ण ना सिर्फ छालों की जगहों पर नई कोशिकाओं के निर्माण को प्रोत्साहित करता है, बल्कि इसमें पाया जाने वाला फ़्लेवेनोयड ल्युकोसायनायडिन अल्सर (छाले) बनाने वाले अल्सरोजेन को भी रोकता है।
टाइप 1 डायबिटीज़ के रोगियों के लिए फायदेमंद
केले के फूल टाइप 1 डायबिटीज़ के रोगियों के लिए कारगर उपाय है। अनेक शोधों के जरिए यह निष्कर्ष निकाला गया है कि इसके फूल का रस तैयार करके टाइप 1 डायबिटीज रोगियों को दिया जाए, तो यह रक्त में शर्करा की मात्रा कम करने में मदद करता है।
डायबिटीज़ नियंत्रण करता है
केले की जडों और कच्चे केले में भी डायबिटीज़ नियंत्रण के लिए जबरदस्त गुण होते हैं। अनेक वैज्ञानिकों ने केले के पौधे के इन हिस्सों को डायबिटीज़ नियंत्रण के लिए उपयोग में लाई जाने वाली औषधि ग्लिबेनक्लेमाईड के समान पाया है।
त्वचा रोगों को ठीक करता है
कई क्लिनिकल स्टडीज़ से यह भी ज्ञात हुआ है कि केले की पत्तियां त्वचा पर होने वाले खतरनाक बैक्टीरियल इन्फेक्शन्स को रोकने के लिए कारगर साबित हुई हैं। पत्तियों का रस अनेक तरह के त्वचा विकारों को दूर करने में सक्षम है।
दस्त रोकता है
ताजा हरा केला दस्तरोधी होता है। केला पकने से पहले जब हरा होता है, तो इसमें ऐसे स्टार्च पाए जाते हैं जो दस्त रोकने में मदद करते हैं। बांग्लादेश के देहाती इलाकों में आज भी नवजात शिशुओं को दस्त होने पर कच्चे केले को कुचलकर चटाते हैं।
टेस्टोस्टेरोन को सक्रिय नहीं होने देता
केले का छिलका प्रोस्टेट ग्रंथि की वृद्धि को रोकता है। टेस्टोस्टेरोन की वजह से अक्सर प्रोस्टेट ग्रंथि का आकार बढ़ जाता है और अनेक शोध बताती हैं कि केले का छिलका टेस्टोस्टेरोन को सक्रिय नहीं होने देता।
मुंह के छाले ठीक करता है
कई आर्टिफिसल और केमिकल्स वाली दवाएं जैसे एस्पिरिन, इण्डोमेथासिन, सिस्टियामाइन, हिस्टामाइन आदि के सेवन के बाद कई लोगों को मुंह में छाले आ जाते हैं। आधुनिक शोधों से जानकारी मिलती है कि कच्चे केले को सुखाकर चूर्ण बना लिया जाए और इस चूर्ण को चाटा जाए, तो मुंह के छालों को ठीक कर देता है।
पथरी बाहर निकालता है
केले के तने का रस पथरी में बेहद कारगर है। एक शोध के अनुसार केले के तने का रस किडनी में होने वाली पथरी, खास तौर से ओक्सालेट की बनी पथरी को तोड़कर पेशाब मार्ग से बाहर निकाल देता है।
एचआईवी कंट्रोल करता है
अनेक शोधों के परिणामों पर नजर डाली जाए, तो जानकारी मिलती है कि केले में वायरस नियंत्रण के जबरदस्त गुण होते हैं। कुछ शोध तो इसे MRSA और HIV के नियंत्रण तक के लिए उपयोगी मानते हैं।
नई कोशिकाओं के निर्माण में सहायक
शोधों से यह भी जानकारी मिलती है कि केले का चूर्ण ना सिर्फ छालों की जगहों पर नई कोशिकाओं के निर्माण को प्रोत्साहित करता है, बल्कि इसमें पाया जाने वाला फ़्लेवेनोयड ल्युकोसायनायडिन अल्सर (छाले) बनाने वाले अल्सरोजेन को भी रोकता है।
टाइप 1 डायबिटीज़ के रोगियों के लिए फायदेमंद
केले के फूल टाइप 1 डायबिटीज़ के रोगियों के लिए कारगर उपाय है। अनेक शोधों के जरिए यह निष्कर्ष निकाला गया है कि इसके फूल का रस तैयार करके टाइप 1 डायबिटीज रोगियों को दिया जाए, तो यह रक्त में शर्करा की मात्रा कम करने में मदद करता है।
डायबिटीज़ नियंत्रण करता है
केले की जडों और कच्चे केले में भी डायबिटीज़ नियंत्रण के लिए जबरदस्त गुण होते हैं। अनेक वैज्ञानिकों ने केले के पौधे के इन हिस्सों को डायबिटीज़ नियंत्रण के लिए उपयोग में लाई जाने वाली औषधि ग्लिबेनक्लेमाईड के समान पाया है।
त्वचा रोगों को ठीक करता है
कई क्लिनिकल स्टडीज़ से यह भी ज्ञात हुआ है कि केले की पत्तियां त्वचा पर होने वाले खतरनाक बैक्टीरियल इन्फेक्शन्स को रोकने के लिए कारगर साबित हुई हैं। पत्तियों का रस अनेक तरह के त्वचा विकारों को दूर करने में सक्षम है।
दस्त रोकता है
ताजा हरा केला दस्तरोधी होता है। केला पकने से पहले जब हरा होता है, तो इसमें ऐसे स्टार्च पाए जाते हैं जो दस्त रोकने में मदद करते हैं। बांग्लादेश के देहाती इलाकों में आज भी नवजात शिशुओं को दस्त होने पर कच्चे केले को कुचलकर चटाते हैं।
टेस्टोस्टेरोन को सक्रिय नहीं होने देता
केले का छिलका प्रोस्टेट ग्रंथि की वृद्धि को रोकता है। टेस्टोस्टेरोन की वजह से अक्सर प्रोस्टेट ग्रंथि का आकार बढ़ जाता है और अनेक शोध बताती हैं कि केले का छिलका टेस्टोस्टेरोन को सक्रिय नहीं होने देता।
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